दौर मुश्किलों का – कोई शाश्वत नहीं है अपनी कलम से, हो सोच अगर अच्छी,…
Author: Surya Pratap Rao Repalli
न जाने कहां खो गया…
हर दिन उठते ही जो करते थे मस्ती हम बचपन में,न ख़बर हुई वो मस्ती जीवन से,न…
ये पल यूं ही गुज़र जायेंगें
मेरे जीवन के ये पल,दो पल यूं ही गुज़र जायेंगे, तेरी यादों,तेरे किए वादों से ये…